Quantum computer Basic detail-
सच कहते है परिवर्तन ही श्रिष्टि का नियम है और यह बात सिर्फ प्रकृति मे ही नहीं बल्कि तकनीकी में भी लागु होता है। जिसका उदाहरण हमें Quantum computer में देखने को मिलता है। classic computer ने तकनीकी को पंख दी उसी classic computer की जगह Quantum computer लेने को तैयार बैठा है। आज के इस भाग में दोस्तों Quantum computer के सभी पहलुओं जैसे Quantum computer क्या है ?कैसे काम करता है ? इसके फायदे, अविष्कार तथा potencial job तथा पढ़ाई कैसे करे के बारे में चर्चा करेंगे।
दोस्तों आज जो कंप्यूटर हम इस्तमाल कर रहे हैं उसे classic computer (क्लासिक कंप्यूटर) कहते हैं। क्लासिक कंप्यूटर में हमने पाया है कि इसमें कुछ लिमिटेशंस होती है, जैसे स्टोरेज, प्रोसेसिंग, स्पीड, पावर कंजप्शन, आदि तथा अनेक ऐसी छोटी-छोटी समस्या रहती है जो की बड़ी समस्याओं को सुलझाने में ज्यादा कारगर साबित नहीं होती है।
कुछ कार्यो के लिए तो अधिक समय भी लगता है। सामान्य कैलकुलेशन या थोड़ी जटिल समस्या पर यह तो काम करती है, पर बड़े प्रोजेक्ट जैसे स्पेस मिशन ब्रह्मांड को समझने,खगोलीय विज्ञान के समीकरण को जानने आदि के लिए क्लासिक कंप्यूटर उतनी कारगर नहीं हो पाती है। अतः इसी समस्याओं को समझते हुए क्वांटम कंप्यूटर की रूपरेखा तैयार की गई है।
जिससे अधिक जटिल समस्याओं को सुलझाया जा सके तथा ब्रम्हांड के अनेक रहस्य को जानने के लिए उपयोग में लाया जाएगा। जैसा की टेक्नोलॉजी ने दुनिया को बहुत छोटा कर दिया है। अब पलक झपकते हम एक किनारे से दूसरे किनारे पहुंच जाते हैं तथा मिनटों में हम एक दूसरे से संपर्क साध लेते हैं।
इसलिए हम चीजों को बेहतर से बेहतर बनाने की सोच तथा चीजों के बारे में अत्यधिक जाने के लिए उत्साहित रहते हैं इन्हें सभी को महत्वकांक्षाओ को क्वांटम कंप्यूटर के जरिए पूरा करने की कोशिश हो रही है। जिसमें बड़ी-बड़ी कंपनियां जैसे Google,Microsoft,IBM जैसे कंपनियों ने Quantum computer बनाने की दिशा में प्रयासरत हैं।
जो आने वाले समय में क्लासिक कंप्यूटर, क्वांटम कंप्यूटर का रूप ले लेगा। जिससे AI को गति मिलेगी और स्वास्थ्य, कृषि, विज्ञान में क्रांतिकारी परिवर्तन हमें देखने को मिलेगा। खैर जैसे हर सिक्के के दो पहलू होते हैं वैसे क्वांटम कंप्यूटर के भी कुछ दुष्परिणाम हो सकते हैं। इसका दुरुपयोग से देशों के डेटा सुरक्षा में भी खतरा पैदा हो सकता है खैर चलिए हम क्वांटम कंप्यूटर क्या है ? समझते हैं
Quantum computer क्वांटम कंप्यूटर क्या है?
यह एक वृहद नैनोटेक्नोलॉजी है जो Quantum physics पर आधारित है, जैसे की हमने हमारी Learning period में क्वांटम फिजिक्स में पढ़ा था कि कोई भी चीज का fundamental particles -Molecules,atom, electron,proton,neutron आदि जैसे कण होते हैं और उसकी अवस्था कार्य, संरचना इन्हीं कणों के आधार पर कार्य करती है।
इसी theory को क्वांटम कंप्यूटर को बनाने में पेश किया गया है। अर्थात Quantum computer एक ऐसा कंप्यूटर होगा जो Quantum physics के नियमो को follow कर कंप्यूटर की प्रोसेसिंग पावर को फास्ट करेंगी तथा यह मनुष्य के बहुत से कामों को चुटकी में हल करेगी। तथा इससे तेज गति से कंप्यूटेशन प्राप्त किया जा सकता है।
क्वांटम कंप्यूटिंग से गणना एक सेकंड में ट्रिलियन हो सकती है। इसका इस्तेमाल कठिन समस्याओं को बहुत ही कम समय में slove किया जा सकता है। क्वांटम कंप्यूटिंग से वस्तु की अवस्था के आधार पर वस्तु के अवस्था की संभावना के अनुसार गणना करेगी। जो एक क्लासिक कंप्यूटर से अधिक डाटा देने में सक्षम होगी।
इन्हें भी पढ़े –
क्वांटम कंप्यूटिंग के फायदे-
- आणविक तथा नाभिकीय विज्ञान में शोध
- बड़ी बड़ी संख्याओं का गुणा करने में सक्षम
- गणना,डाटा स्टोरेज विश्लेषण की क्षमता अत्यधिक
- खगोल विज्ञान तथा स्पेस मिशन में कारगर
- चिकित्सा,सप्लाई चेन वित्तीय सेवा मैनेजमेंट लॉजिस्टिक
- मोनेटाइजेशन के क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव ला सकता है
- Data breach की समस्या का निदान हो सकता है।
- सिक्योर कम्युनिकेशन फीचर
- समानांतर प्रोसेसिंग पावर जबरदस्त
- सिमुलेशन क्षमता एक समय में कई पॉसिबिलिटी को जांच करने की क्षमता
- AI को फास्ट करेगी सूचना संचार प्रौद्योगिकी को गति देगी।
History of Quantum computer-
सबसे पहले रिचर्ड फेनमैन और यूरी मैनिन ने 1980 ने क्वांटम कंप्यूटर की परिकल्पना रखी। सन 1994 में पीटर शोर ने इसके algorithm समझाई। 1998 में Los Alamos national laboratory तथा massachusetts Institute of Technology ने Quantum computer पर काम शुरू किया।
Quantum computer कैसे काम करती है?
यह सवाल बहुत मायने रखती है कि इतनी सहूलियत देने के लिए यह कैसे काम करेगी तथा वह क्या चीज है जिसके कारण यह क्लासिक कंप्यूटर से बिल्कुल अलग होगी। जैसा कि हम सभी जानते हैं कि क्लासिक कंप्यूटर हमेशा Binary number पर काम करती है। यह दो नंबर (0,1) एक के रूप में प्रदर्शित हर चीजों को करती है। जो हमेशा ऑन या ऑफ के रूप में काम करते हैं जिन्हें हम Bits कहते हैं।
Bits एक समय में ऑन और ऑफ होते हैं लेकिन क्वांटम कंप्यूटिंग में Bits की जगह Qubits होते हैं। मतलब (0,1) बाइनरी डिजिट के जैसा कोई स्थिर संरचना नहीं होती है मतलब यह 0,1 यह दोनों एक साथ भी रिप्रेजेंट हो सकते हैं। Quantum mechanical phenomena का उपयोग करके है।
अर्थात या क्वांटम स्टेट क्वांटम गुणों का उपयोग करती है जिसमें हम Qubits क्यूबिट्स कहते हैं इसका लॉजिक तीन बिंदुओं पर केंद्रित रहता है।
- superposition (आरोपण)
- Entanglement (बंधन)
- Interference (हस्तक्षेप)
इसमें भी लॉजिक गेट का प्रयोग होता है जहां क्लासिक कंप्यूटर में AND,OR,NAND,NOR गेट का प्रयोग होता है। वही क्वांटम कंप्यूटिंग में (HADAMARD) H MATHz,MATHs आदि का प्रयोग होता है यह एक कठिन, नैनोटेक्नोलॉजी है जिसमें सुपर कंडक्टर तथा सुपर कूल अनु का प्रयोग होता है। जिससे इसकी प्रक्रिया जटिल हो जाती है।
इसमें वृहद प्रभाव डालने के लिए ultra thin material का इस्तेमाल होता है। यह एक specific पैटर्न में संयोजित रहती है, जिसे majorana zero energy modes (MZMs) कहते हैं। MZMs कार्य करने के लिए इलेक्ट्रॉन को उर्जा दी जाती है जिसके कारण क्यूबिट सभी पॉसिबिलिटीओ की जांच कर परफॉर्म करते हैं।
Top potential job in क्वांटम कंप्यूटर
अगर क्वांटम कंप्यूटर में करियर विकल्प की बात करे,तो इसका भविष्य बहुत ही उज्जवल होने वाला है। नौकरीओ के अलावा यह एक उधोग के रूप में भी इसे विकसित किया जा सकता है। जिसमे Google,microsoft IBM,D-wave आदि अग्निम है। जिसमें शानदार पैकेज के साथ sucure करियर एक अच्छे भविष्य का निर्माण होता है।
Quantum computer Engineer -इसमें आप क्वांटम मैकेनिक्स,सिस्टम इंजीनियर ,कंप्यूटर साइंस के जॉब विकल्प के साथ अपने लिए उधोग का रास्ता भी खोल सकते है।
Quantum software Engineer -यह बहुत ही उम्मदा करियर विकल्प है जँहा देश से लेकर विदेश तक जॉब मौजूद है। इसमें आपको कोड परीक्षण,एकीकरण और सिस्टम संचालन आदि का काम करना होगा जो एक अच्छे पैकेज के साथ प्रतिष्ठा की पा सकते है। इसके अलावा कई संभावनाए है जैसे –
- Quantum computer Architect
- Quantum software developer
- Quantum algorithm Research
- Quantum computer Research centre
इसकी पढ़ाई कैसे करें ?
फिलहाल इंडिया में क्वांटम कंप्यूटर पर काम बहुत कम हो रही है,लेकिन DRDO तथा भारत सरकार इस दिशा में लगातार प्रयासरत है। जिसमें कुछ समय लग सकता है फिलहाल क्वांटम कंप्यूटिंग की थ्योरी गूगल माइक्रोसॉफ्ट आईबीएम के पास है यह निरंतर इस दिशा में आगे बढ़ रही हैं।
चीन भी इस दिशा में बढ़ चढ़कर काम कर रहा है। अगर हम क्वांटम कंप्यूटिंग को समझना या पढ़ना चाहते हैं तो IBM की Toolkit क्वांटम इंफॉर्मेशन साइंस के द्वारा इसके प्रोग्राम को समझ सकते हैं। साथ ही साथ निम्नलिखित कुछ संस्थाए है जो जिससे क्वांटम कंप्यूटिंग की दिशा में बढ़ा जा सकता है।
Top university क्वांटम कंप्यूटर – India
- Harish chandra Research Institue
- Indian Institue of science
- Tata Institue of fundamental Research (TIFR)
- Raman Research institue of India
- Indian institute of science education and research Bhopal
concusion –
आशा है दोस्तों आपको क्वांटम कंप्यूटिंग का यह भाग पसंद आया होगा। जिसे मैंने सरल और आसान शब्दों में समझाने की कोशिश है,यहाँ सिर्फ मैंने बेसिक इनफार्मेशन दिया है जिससे क्वांटम कंप्यूटिंग को आसान शब्दों में समझा समझा जा सके। यह कैसे काम करती है? इसका भविष्य कैसा है ?,यह कैसे हमलोग के काम आ सकता है और क्या हम इसे करियर के रूप में अपना सकते है। इन्हीं सवालों के जवाब के साथ आपके सुझाओं की प्रतीक्षा के साथ जय हिन्द।